समयाभाव के कारण अब लगातार लिखने की आदत न रही होने के बावजूद कभी-कभी बेहद आंदोलित या खुश महसूस करता हूं, तो मन अपने-आप ही कुछ लिख देने को आतुर हो उठता है...
मेरे ब्लॉग्स के सभी चाहने वालों, तथा उनके परिजनों के लिए दीपावली का रोशनी से भरा यह पावन पर्व जीवन में ढेर सारी खुशियां और उजाले लेकर आए, यही कामना है...